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थैलेसीमिया मुक्त बचपन की ओर कदम – जिला अस्पताल में ‘प्रोजेक्ट जीवन’ के तहत विशेष चिकित्सा शिविर का आयोजन…..

ByPreeti Joshi

Jul 19, 2025 ##Chhattisgarh, ##NEWS, ##कलेक्टर, ##छत्तीसगढ़, ##मुख्यमंत्री, #'प्रोजेक्ट जीवन', #amrittoday, #amrittoday.in छत्तीसगढ़ न्यूज, #BIG NEWSMID, #Breaking, #Breaking news, #cg news, #chhattisgarh breaking news, #chhattisgarh hindi news, #chhattisgarh latest news, #Chhattisgarh news, #chhattisgarh news in hindi, #chhattisgarh news live today, #chhattisgarh news today, #chhattisgarhi news, #DAY NEWS, #Exclusive, #Hindi News, #HINDICHHATTISGARH, #KA SILSILATODAY'S, #latest news, #NEWSCHHATTISGARH, #NEWSHINDI, #NEWSINDIA, #NEWSKHABRON, #NEWSTODAY'S, #Today breaking news, #today news, #TODAY'S LATEST, #UPDATE, #अभी-अभी, #अमृत टुडे, #अस्थि मज्जा प्रत्यारोपण विशेषज्ञ, #अस्पताल, #आज की ताजा खबर, #इंडिया न्यूज़, #उपचार, #ऑन्कोलॉजिस्ट, #खबरछत्तीसगढ़, #गुरुग्राम, #छत्तीसगढ़ न्यूज़, #जिला अस्पताल पंडरी, #डॉ गौरव कुमार सिंह, #डॉ. परमिंदर पाल सिंह, #डॉ. विकास दुआ, #थैलेसीमिया, #निशुल्क परामर्श, #न्यूजछत्तीसगढ़, #फोर्टिस मेमोरियल रिसर्च इंस्टीट्यूट, #रक्त विकार विशेषज्ञ, #लेटेस्ट न्यूजछत्तीसगढ़ न्यूज, #विशेष शिविर का आयोजन, #विष्णु देव साय, #हिंदीछत्तीसगढ़
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थैलेसीमिया पीड़ित 30 बच्चों को मुफ्त जांच और उपचार, जगी नई उम्मीद

योगेश यादव ‘प्रोजेक्ट जीवन’ के तहत अपने बच्चे का करा रहे निःशुल्क ईलाज, मुख्यमंत्री के प्रति जताया आभार

रायपुर, अमृत टुडे । जिला अस्पताल पंडरी में थैलेसीमिया से जूझ रहे मासूम बच्चों के लिए ‘प्रोजेक्ट जीवन’ के अंतर्गत निशुल्क परामर्श और उपचार हेतु विशेष शिविर का सफल आयोजन किया गया। मुख्यमंत्री विष्णु देव साय के मार्गदर्शन और कलेक्टर डॉ. गौरव कुमार सिंह के नेतृत्व में आयोजित इस शिविर का उद्देश्य उन बच्चों को राहत देना है, जो थैलेसीमिया जैसी गंभीर बीमारी के कारण लगातार रक्त चढ़वाने को विवश हैं। शिविर के माध्यम से ऐसे बच्चों को मुफ्त इलाज और बोन मैरो ट्रांसप्लांट की सुविधा देकर एक बेहतर और स्वस्थ जीवन देने की पहल की गई।

शिविर में देश के प्रतिष्ठित अस्पताल फोर्टिस मेमोरियल रिसर्च इंस्टीट्यूट, गुरुग्राम से अस्थि मज्जा प्रत्यारोपण विशेषज्ञ डॉ. विकास दुआ और रक्त विकार विशेषज्ञ व ऑन्कोलॉजिस्ट डॉ. परमिंदर पाल सिंह ने अपनी विशेषज्ञ सेवाएं दीं। शिविर में 12 वर्ष से कम आयु के थैलेसीमिया पीड़ित बच्चों का निशुल्क परीक्षण, परामर्श और उपचार किया गया। मरीजों और उनके परिजनों को थैलेसीमिया की रोकथाम, लक्षण और उपचार के बारे में विस्तार से जानकारी दी गई।

इस शिविर की सबसे महत्वपूर्ण पहल रही निशुल्क HLA जांच, जिसकी रिपोर्ट के आधार पर बोन मैरो ट्रांसप्लांट की संभावना का पता लगाया जाएगा। जिन बच्चों की जांच में उपयुक्त मैच पाया जाएगा, उनका बोन मैरो ट्रांसप्लांट शासन की ओर से पूरी तरह नि:शुल्क कराया जाएगा। शिविर में कुल 30 मरीजों ने भाग लिया और 40 से अधिक HLA सैंपल जांच हेतु एकत्रित किए गए। इस अवसर पर परिजनों को आगे के उपचार और देखभाल से जुड़ी जरूरी जानकारी भी दी गई।

शिविर के आयोजन में मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. मिथिलेश चौधरी, सिविल सर्जन डॉ. संतोष भंडारी, प्रोजेक्ट जीवन की नोडल अधिकारी डॉ. श्वेता सोनवानी, कंसल्टेंट मिथलेश सोनबेर, डॉ. राखी चौहान और जिला अस्पताल के अन्य स्वास्थ्यकर्मी भी शामिल रहे। फील्ड स्तर से थैलेसीमिया पीड़ित बच्चों को शिविर स्थल तक पहुँचाने में RBSK टीम का विशेष योगदान रहा।

सेवा दे रहे डॉक्टरों और विशेषज्ञों का सम्मान करते हुए कलेक्टर डॉ. गौरव कुमार सिंह ने स्मृति चिन्ह भेंट किया और कहा कि शासन की यह योजना उन परिवारों के लिए संजीवनी का काम करेगी, जो अपने बच्चों का बार-बार ब्लड ट्रांस्फयूजन कराने को विवश हैं। उन्होंने आम जनता से अपील की कि यदि किसी भी बच्चे में थैलेसीमिया के लक्षण दिखें तो उसे तुरंत जांच और उपचार के लिए आगे लाएं।

प्रोजेक्ट जीवन के तहत आयोजित यह शिविर बच्चों और उनके परिजनों के लिए आशा की नई किरण बनकर सामने आया है। इससे न केवल उनके इलाज का रास्ता खुला है, बल्कि भविष्य में थैलेसीमिया की रोकथाम और इसके प्रति जागरूकता फैलाने में भी ज़िला प्रशासन की यह मुहिम अहम भूमिका निभाएगी।

उरला बिरगांव से अपनी बिटिया के साथ आई एक महिला ने बताया –
मेरे बच्चे को माइनर थैलेसीमिया है, जिसका इलाज हम प्राइवेट अस्पताल में करवा रहे थे। वहां इलाज में काफी खर्च हो गया। जब हमें पता चला कि जिला अस्पताल में थैलेसीमिया के लिए शिविर लग रहा है और यहाँ बच्चों का फ्री में इलाज व परामर्श मिल रहा है, तो हम तुरंत यहाँ आए। मैं मुख्यमंत्री विष्णु देव साय का धन्यवाद करती हूं, जिन्होंने ऐसा शिविर लगवाया और हम जैसे परिवारों को भी उम्मीद दी कि हमारे बच्चों को स्वस्थ रखा जा सकेगा।”

बलरामपुर निवासी योगेश यादव ने बताया –
मैं बलरामपुर से अपने बच्चे को लेकर रायपुर जिला अस्पताल आया हूं। यहां प्रोजेक्ट जीवन के तहत थैलेसीमिया का मुफ्त इलाज हो रहा है। प्राइवेट अस्पतालों में डॉक्टरों ने बताया था कि इलाज में 20 से 22 लाख रुपये लगते हैं। लेकिन रायपुर ज़िला प्रशासन इस इलाज को पूरी तरह निःशुल्क करा रही है। मैं इसके लिए मुख्यमंत्री साय का आभार व्यक्त करता हूं।

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